Monday, December 1

West Bengal

पश्चिम बंगाल में SIR घमासान: कोलकाता में बीएलओ का चुनाव आयोग कार्यालय पर प्रदर्शन, सुवेंदु अधिकारी के खिलाफ ‘गो बैक’ के नारे
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पश्चिम बंगाल में SIR घमासान: कोलकाता में बीएलओ का चुनाव आयोग कार्यालय पर प्रदर्शन, सुवेंदु अधिकारी के खिलाफ ‘गो बैक’ के नारे

अचलेंद्र कटियार, कोलकाता:पश्चिम बंगाल में वोटर लिस्ट रिवीजन (SIR) को लेकर राजनीतिक तापमान बढ़ता जा रहा है। सोमवार को बीएलओ (ब्लॉक लेवल ऑफिसर) कोलकाता में राज्य के चीफ इलेक्शन ऑफिसर (CEO) के कार्यालय पहुंचे और अपने विरोध का प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने बैरिकेड तोड़कर अंदर जाने की कोशिश की, हालांकि इसमें उन्हें सफलता नहीं मिली। इस दौरान तृणमूल से जुड़े बीएलओ राइट्स प्रोटेक्शन कमिटी के सदस्य और बीजेपी नेता सुवेंदु अधिकारी के बीच विवाद भी देखने को मिला। बीएलओ ने सुवेंदु अधिकारी को देखकर 'गो बैक' के नारे लगाए। प्रदर्शन के दौरान सुरक्षा के लिए लगाए गए बैरिकेड पर धक्का-मुक्की और हाथापाई भी हुई। बीजेपी ने आरोप लगाया कि तृणमूल पार्टी बीएलओ को भड़का रही है और उनके माध्यम से वोटर लिस्ट में गड़बड़ी कर रही है। पार्टी ने कहा कि वह गड़बड़ियों की शिकायत सीधे चीफ इलेक्शन कमिश्नर ज्ञानेश कुमार से...
ममता बनर्जी का यू-टर्न: कहा था ‘गोली मार दो’, लेकिन 7 महीने बाद बंगाल में लागू किया वक्फ कानून 82,000 वक्फ संपत्तियों को 5 दिसंबर तक UMEED पोर्टल पर अपलोड करने का आदेश
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ममता बनर्जी का यू-टर्न: कहा था ‘गोली मार दो’, लेकिन 7 महीने बाद बंगाल में लागू किया वक्फ कानून 82,000 वक्फ संपत्तियों को 5 दिसंबर तक UMEED पोर्टल पर अपलोड करने का आदेश

कोलकाता: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने महीनों तक जिस वक्फ संशोधन अधिनियम 2025 का जोरदार विरोध किया, आखिरकार वही कानून अब राज्य में लागू कर दिया है। केंद्र सरकार के निर्देशों के बाद बंगाल सरकार ने सभी जिलाधिकारियों को पत्र जारी कर 82,000 वक्फ संपत्तियों का पूरा ब्यौरा 5 दिसंबर तक UMEED पोर्टल (umeedminority.gov.in) पर अपलोड करने को कहा है। इस आदेश के साथ स्पष्ट हो गया है कि ममता सरकार ने नए वक्फ कानून को राज्य में लागू कर दिया है। विरोध से लागू करने तक: क्या हुआ बीच में? केंद्र का वक्फ संशोधन अधिनियम इस साल अप्रैल में संसद से पारित हुआ था। ममता बनर्जी ने न सिर्फ इसका कड़ा विरोध किया था, बल्कि सार्वजनिक मंच से चुनौती भी दी थी कि—“मुझे गोली मार दो, लेकिन बंगाल में वक्फ कानून लागू नहीं होने दूंगी।”कानून के खिलाफ राज्य में विरोध प्रदर्शन हुए, और तृणमूल सरकार अदालत भी गई, लेकि...
राज्यसभा में जय हिंद और वंदे मातरम पर रोक को लेकर भड़कीं ममता बनर्जी
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राज्यसभा में जय हिंद और वंदे मातरम पर रोक को लेकर भड़कीं ममता बनर्जी

कोलकाता: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी ने राज्यसभा में जय हिंद और वंदे मातरम जैसे राष्ट्रीय नारे लगाने पर रोक लगाने के फैसले की कड़ी आलोचना की है। ममता ने कहा, “क्यों नहीं बोलेंगे? जय हिंद और वंदे मातरम हमारा राष्ट्रीय गीत और आज़ादी का नारा है। जय हिंद नेताजी का नारा है। इससे जो टकराएगा, चूर चूर हो जाएगा।” राज्यसभा बुलेटिन में दिए निर्देशराज्यसभा के बुलेटिन में सांसदों से कहा गया है कि वे सदन में या बाहर जय हिंद, वंदे मातरम, थैंक्स, थैंक यू जैसे शब्दों का प्रयोग न करें। इसके अलावा बुलेटिन में सांसदों को यह भी याद दिलाया गया कि सदन में किसी की आलोचना करते समय उन्हें प्रतिवादी के जवाब के लिए सदन में उपस्थित रहना अनिवार्य है। यदि सदस्य गैरहाज़िर रहते हैं तो यह पार्लियामेंट्री एटिकेट का उल्लंघन माना जाएगा। सत्र और अध्यक्षतासंसद का शीतकालीन सत्र 1 दिसंब...
मेले में भटककर बांग्लादेश पहुंची राधिका, 20 साल बाद लौटेंगी घर
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मेले में भटककर बांग्लादेश पहुंची राधिका, 20 साल बाद लौटेंगी घर

कोलकाता: पश्चिम बंगाल के गंगासागर मेले में लगभग दो दशक पहले लापता हुई मध्य प्रदेश की राधिका की कहानी किसी फिल्मी कहानी से कम नहीं है। करीब 20 साल तक अपने परिवार से बिछड़ी राधिका का पता हाल ही में बांग्लादेश में चला है। अब वह जल्द ही अपने परिवार के पास लौट सकती हैं। लापता महिला की खोज का श्रेय शौकिया रेडियो ऑपरेटरों कोवेस्ट बंगाल रेडियो क्लब (WBRC) के सचिव अंबरीश नाग विस्वास के अनुसार, क्लब के शौकिया रेडियो ऑपरेटर वर्षों से लापता लोगों को उनके परिवारों से जोड़ने का काम करते रहे हैं। उनके बांग्लादेश स्थित संपर्कों ने उन्हें एक बुजुर्ग महिला की सूचना दी। महिला का नाम राधिका था और उम्र लगभग 70 साल। वह बांग्लादेश की सड़कों पर भीख मांगती मिली। जब उससे उसके पति का नाम पूछा गया तो उसने केवल “सागर” शब्द कहा। यही शब्द खोज की कुंजी साबित हुआ। ‘सागर’ शब्द ने खोला पहेली का रास्ताWBRC टीम ने पहले ...
केस वापस ले लो वरना…कसबा लॉ कॉलेज गैंगरेप केस में पीड़िता के पिता को मिली धमकी, बाइक सवार आरोपी फरार
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केस वापस ले लो वरना…कसबा लॉ कॉलेज गैंगरेप केस में पीड़िता के पिता को मिली धमकी, बाइक सवार आरोपी फरार

कोलकाता। कसबा लॉ कॉलेज गैंगरेप मामले में पीड़िता के पिता को अज्ञात बाइक सवारों द्वारा धमकी देने का सनसनीखेज मामला सामने आया है। देर शाम दो बदमाश बाइक से आए और पीड़िता के पिता को रास्ते में रोककर केस वापस लेने की चेतावनी दी। धमकी देने के बाद दोनों आरोपी मौके से फरार हो गए। पीड़िता के पिता की शिकायत पर पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। बाइक सवारों ने दी धमकी, पिता नहीं पहचान पाए चेहरे सूत्रों के अनुसार, यह घटना बुधवार को सामने आई जब पीड़िता के पिता ने बारुईपुर पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज कराई। उन्होंने बताया कि दो युवक बाइक पर आए और पास आकर बोले—“केस वापस ले लो, वरना अंजाम बुरा होगा…” पिता ने पुलिस को बताया कि बदमाशों के चेहरे वह पहचान नहीं पाए। पुलिस ने आसपास के इलाकों में पूछताछ शुरू कर दी है और सीसीटीवी फुटेज की भी मदद ली जा रही है। एक पुलिस अधिकारी के अनुसार, ...
6 जोन, क्रैक टीम, कई राज्यों के नेताओं की ड्यूटी: बीजेपी का बंगाल प्लान 2026
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6 जोन, क्रैक टीम, कई राज्यों के नेताओं की ड्यूटी: बीजेपी का बंगाल प्लान 2026

कोलकाता: पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव 2026 के लिए बीजेपी ने रणनीति पूरी तरह तैयार कर ली है। 294 सीटों वाली विधानसभा में जीत का मैजिक नंबर 148 है। पिछले चुनाव में 38% वोट के साथ 77 सीटें जीतने वाली बीजेपी इस बार टीएमसी के किले में सेंध लगाने की पूरी तैयारी कर रही है। क्रैक टीम और दूसरे राज्यों के नेता मैदान में बीजेपी ने पश्चिम बंगाल को 6 चुनावी जोन में बांटकर हर क्षेत्र में माइक्रो लेवल पर रणनीति तैयार की है। छत्तीसगढ़, हिमाचल, हरियाणा और कर्नाटक जैसे राज्यों के नेताओं को बंगाल में ड्यूटी दी गई है। इन नेताओं का काम संगठन मजबूत करना और स्थानीय वोटरों तक प्रभावी पहुंच सुनिश्चित करना है। दार्जिलिंग व पहाड़ी क्षेत्र: राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रदीप भंडारी और पूर्व आईपीएस पंकज कुमार सिंह। राढ़बंग बेल्ट (पुरुलिया, बांकुरा, बीरभूम, पुरबा-बर्धमान): छत्तीसगढ़ के पवन कुमार साईं और उत्तराखंड के ...
कोलकाता एयरपोर्ट से रहस्यमयी विमान की विदाई: 13 साल लावारिस पड़ा रहा बोइंग 737, रिकॉर्ड से भी गायब! अब बनेगा ट्रेनिंग प्लेन
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कोलकाता एयरपोर्ट से रहस्यमयी विमान की विदाई: 13 साल लावारिस पड़ा रहा बोइंग 737, रिकॉर्ड से भी गायब! अब बनेगा ट्रेनिंग प्लेन

कोलकाता। कोलकाता हवाई अड्डे के दक्षिण-पूर्वी कोने पर पिछले 13 वर्षों से खड़ा एक लावारिस बोइंग 737-200 विमान आखिरकार एयरपोर्ट परिसर से बाहर ले जाया गया। 14 नवंबर को ट्रैक्टर-ट्रेलर पर इस विमान को बेंगलुरु रवाना किया गया, जहां इसका इस्तेमाल विमान रखरखाव इंजीनियरों के प्रशिक्षण के लिए किया जाएगा। पिछले पांच वर्षों में एयरपोर्ट से हटाया गया यह 14वां बंद विमान है। क्यों है यह विमान खास? यह विमान केवल बेकार नहीं पड़ा था, बल्कि इसके पीछे एक बेहद दिलचस्प और हैरान करने वाली कहानी भी जुड़ी है। सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि जिस एयरलाइन—एयर इंडिया—के नाम पर यह विमान दर्ज था, उसे खुद इस विमान के अस्तित्व के बारे में जानकारी नहीं थी। यह विमान कंपनी के रिकॉर्ड और दस्तावेजों में दर्ज ही नहीं था। एयर इंडिया के सीईओ कैंपबेल विल्सन के अनुसार, कोलकाता एयरपोर्ट अधिकारियों ने जब इसकी जानकारी दी, तभी कंपन...
पश्चिम बंगाल में बाबरी मस्जिद का ऐलान: टीएमसी विधायक हुमायूं कबीर करेंगे 6 दिसंबर को शिलान्यास
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पश्चिम बंगाल में बाबरी मस्जिद का ऐलान: टीएमसी विधायक हुमायूं कबीर करेंगे 6 दिसंबर को शिलान्यास

कोलकाता: पश्चिम बंगाल की राजनीति में एक बार फिर हलचल मच गई है। तृणमूल कांग्रेस (TMC) के विधायक हुमायूं कबीर ने ऐलान किया है कि वह 6 दिसंबर को मुर्शिदाबाद जिले के बेलडांगा में बाबरी मस्जिद का शिलान्यास करेंगे। उन्होंने दावा किया है कि यह मस्जिद तीन साल में बनकर तैयार हो जाएगी। राजनीतिक प्रतिक्रियाएँ बीजेपी ने इस कदम की तुष्टिकरण की राजनीति के रूप में आलोचना की है। पश्चिम बंगाल बीजेपी की सेक्रेटरी प्रियंका टिबरेवाल ने कहा कि टीएमसी का सेक्युलरिज़्म “धर्म-विशेष” है और यह घोषणा केवल राजनीतिक लाभ के लिए की जा रही है। वहीं, बीजेपी नेता राहुल सिन्हा ने कहा कि मस्जिद बन सकती है, लेकिन इसे सही जगह पर होना चाहिए। कांग्रेस ने इस विवाद से दूरी बनाए रखी। उत्तर प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने कहा कि उनकी पार्टी शासन और विकास के मुद्दों पर केंद्रित है, न कि धार्मिक या राजनीतिक विवा...
बॉर्डर जिलों में वोटरों की बाढ़! SIR में सामने आएगा सच—घुसपैठ या हिंदू शरणार्थी?
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बॉर्डर जिलों में वोटरों की बाढ़! SIR में सामने आएगा सच—घुसपैठ या हिंदू शरणार्थी?

कोलकाता: बांग्लादेश से सटे पश्चिम बंगाल के सीमावर्ती जिलों में अप्रत्याशित रूप से बढ़े वोटरों की संख्या ने सियासत गर्म कर दी है। चुनाव आयोग द्वारा कराए जा रहे स्पेशल इंटेंसिव रिविजन (SIR) को लेकर राजनीतिक बयानबाज़ी तेज है। आंकड़े बताते हैं कि पिछले 23 वर्षों में राज्य में वोटरों की संख्या 66% बढ़ी, जबकि राजधानी कोलकाता में यह वृद्धि सिर्फ 4.6% रही। 10 जिलों में चौंकाने वाली बढ़ोतरी 2002 से 2025 के बीच राज्य में रजिस्टर्ड मतदाता 4.58 करोड़ से बढ़कर 7.63 करोड़ हो गए।चुनाव आयोग के मुताबिक— 10 जिलों में वोटर बढ़ोतरी 70% से अधिक इनमें 9 जिले बांग्लादेश बॉर्डर से जुड़े बीरभूम में भी 73.44% मतदाता बढ़े, जबकि सीमा नहीं लगती सबसे अधिक वृद्धि वाले जिले: उत्तर दिनाजपुर — 105.49% मालदा — 94.58% मुर्शिदाबाद — 87.65% दक्षिण 24 परगना — 83.30% जलपाईगुड़ी — 82.3% इसक...
SIR और मतुआ समुदाय: भगवान शिव-विष्णु की आस्था के बीच नागरिकता को लेकर बढ़ा तनाव
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SIR और मतुआ समुदाय: भगवान शिव-विष्णु की आस्था के बीच नागरिकता को लेकर बढ़ा तनाव

नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल में मतुआ समुदाय इस समय विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) को लेकर गहरी चिंता में है। इस समुदाय की कई झलकियाँ राजनीतिक और सामाजिक दोनों दृष्टियों से महत्वपूर्ण हैं। हाल ही में तृणमूल कांग्रेस की राज्यसभा सांसद ममता बाला ठाकुर ने SIR के विरोध में 13 दिनों की भूख हड़ताल की थी। वहीं बीजेपी से केंद्रीय मंत्री शांतनु ठाकुर भी मतुआ समुदाय से ही हैं। मतुआ समुदाय का इतिहास और पहचान मतुआ समुदाय बंगाली हिंदुओं का दलित वर्ग है, जो पश्चिम बंगाल और आस-पास के इलाकों में बसे हैं। यह समुदाय पश्चिम बंगाल की कुल अनुसूचित जाति आबादी का लगभग 17.4% हिस्सा है। 1971 के बांग्लादेश मुक्ति संग्राम से पहले और बाद में भी लाखों मतुआ धार्मिक उत्पीड़न से बचकर भारत आए। समाज सुधारक हरिचंद ठाकुर ने 1860 के दशक में मतुआ महासंघ की स्थापना की थी। उनके पुत्र गुरुचंद ठाकुर ने इसे संगठित किया। समुदाय में ह...