
बदायूं। उत्तर प्रदेश के बदायूं जिले के बिसौली नगर में मंगलवार को एक छात्र के अचानक लापता होने और सोशल मीडिया पर उसके कथित अपहरण की अफ़वाह फैलने से शहर में हड़कंप मच गया। मामला इतना बढ़ा कि स्थानीय पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी खुद मौके पर पहुंचे और तीन घंटे तक चले हाईवोल्टेज ड्रामे के बाद सच सामने आया।
स्कूल से लौटते समय छात्र कार में बैठा—फैल गई ‘अपहरण’ की अफ़वाह
मोहल्ला कुम्हारान वाली गली निवासी अनमोल (14 वर्ष) कक्षा आठ का छात्र है। मंगलवार को स्कूल की छुट्टी के बाद घर न पहुंचने पर परिजन चिंतित हो गए। इस बीच जानकारी मिली कि एक मारुति वैन में सवार व्यक्ति छात्र को “बिठाकर ले गया”।
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि कार में एक महिला और कुछ अन्य बच्चे भी मौजूद थे। यह सूचना पलभर में सोशल मीडिया पर फैल गई और देखते ही देखते शहर में बच्चे के अपहरण की अफ़वाह आग की तरह भड़क उठी।
पुलिस अलर्ट—सीओ, कोतवाल और चौकी इंचार्ज मैदान में
कथित अपहरण की खबर पुलिस तक पहुंची तो सीओ सुनील कुमार सिंह, कोतवाल राजेंद्र पुंडीर और चौकी इंचार्ज विदेश शर्मा तुरंत हरकत में आ गए। संदिग्ध वाहन की तलाश में नाके लगाए गए और क्षेत्र में चेकिंग अभियान शुरू हुआ।
लगभग दो घंटे बाद वही कार छात्र को लेकर घर पहुंची तो सभी स्तब्ध रह गए।
मामले की सच्चाई: बच्चों में झगड़ा, पिता ने गुस्से में उठाया गलत कदम
जांच में खुलासा हुआ कि दो दिन पहले स्कूल में साइकिल खड़ी करने को लेकर दो गुटों के छात्रों में झगड़ा हुआ था जिसमें एक छात्र आसिफ घायल हो गया था। चोटिल छात्र के पिता राशिद गुस्से में सोमवार को वैन कार लेकर स्कूल पहुंचे और छुट्टी होते ही अनमोल को कार में बैठा लिया।
राशिद अनमोल से उन छात्रों के घर का पता पूछना चाहते थे जिन्होंने उनके बेटे से मारपीट की थी।
अनमोल के सुरक्षित लौटने पर मिली राहत
घर पहुंचकर छात्र ने पूरा घटना क्रम पुलिस को बताया। पुलिस अधिकारियों ने माथा पीटते हुए कार चालक राशिद से सख्त पूछताछ की और कहा कि—
- यदि बच्चे का विवाद हुआ था तो
स्कूल प्रशासन,
पुलिस,
या अभिभावकों से शिकायत करनी चाहिए थी। - बच्चे को कार में बैठाकर ले जाना और बेवजह अफवाह फैलाना अपराध है।
पुलिस ने फिलहाल छात्र के सुरक्षित लौटने पर राहत की सांस ली है और आरोपी राशिद के खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू कर दी है।
अफवाहों से शहर में दहशत
सोशल मीडिया पर “अपहरण” की खबर फैलने से शहर में भय का माहौल बन गया। कई अभिभावक तब तक चिंतित रहे जब तक उनके बच्चे स्कूल से घर नहीं पहुंच गए।
पुलिस ने लोगों से अपील की है कि बिना पुष्टि के किसी भी सूचना को सोशल मीडिया पर न फैलाएं, वरना कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
