Thursday, November 6

इंदौर कांग्रेस में मचा बवाल: दिग्विजय सिंह को खरी-खोटी सुनाने वाला ऑडियो वायरल, नेताओं ने बताया फर्जी और डीपफेक

इंदौर: मध्यप्रदेश की राजनीति में इन दिनों एक वायरल ऑडियो क्लिप ने हलचल मचा दी है। सोशल मीडिया पर वायरल हो रही इस ऑडियो में इंदौर शहर कांग्रेस अध्यक्ष चिंटू चौकसे और पूर्व शहर अध्यक्ष सुरजीत सिंह चड्ढा के बीच बातचीत सुनाई दे रही है, जिसमें कथित रूप से पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के खिलाफ आपत्तिजनक बातें की जा रही हैं। हालांकि दोनों नेताओं ने इस ऑडियो को फर्जी और एआई तकनीक से तैयार डीपफेक बताया है।

कांग्रेस में अनुशासन शिविर के बीच वायरल हुआ ऑडियो

यह मामला ऐसे समय में सामने आया है जब पार्टी के संगठन में कसावट और अनुशासन लाने के लिए पंचमढ़ी में कांग्रेस का प्रशिक्षण शिविर चल रहा है। इस दौरान वायरल हुए ऑडियो ने प्रदेश कांग्रेस की अंदरूनी राजनीति में नया तूफान खड़ा कर दिया है।

बताया जा रहा है कि ऑडियो में चिंटू चौकसे और सुरजीत सिंह चड्ढा के बीच दिग्विजय सिंह द्वारा डांटे जाने पर नाराजगी भरी बातचीत सुनाई दे रही है। यह बातचीत सितंबर के अंत या अक्टूबर की शुरुआत की बताई जा रही है।

नेताओं ने कहा – “यह ऑडियो पूरी तरह फर्जी”

विवाद बढ़ने के बाद दोनों नेताओं ने इस ऑडियो को डीपफेक करार देते हुए सिरे से खारिज कर दिया है। उनका कहना है कि “यह ऑडियो तकनीकी रूप से बनाया गया है और हमारी आवाज की नकल की गई है।”
उन्होंने आरोप लगाया कि यह एक राजनीतिक साजिश है, जिसका उद्देश्य कांग्रेस संगठन में भ्रम और विवाद फैलाना है।

गुटबाजी फिर आई सामने

इंदौर शहर कांग्रेस अध्यक्ष चिंटू चौकसे पहले दिग्विजय सिंह गुट के करीबी माने जाते थे, लेकिन अब वे प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी के निकट माने जा रहे हैं। हाल ही में सीतलामाता बाजार विवाद के दौरान दोनों नेताओं के बीच मतभेद खुलकर सामने आए थे।

उस दौरान दिग्विजय सिंह के बाजार दौरे में चौकसे और पटवारी दोनों शामिल नहीं हुए थे। बाद में चौकसे ने पार्टी कार्यकर्ताओं की बैठक में कहा था कि “भोपाल के किसी भी नेता को बिना अनुमति इंदौर में कार्यक्रम नहीं करना चाहिए।”

पार्टी की सफाई

पार्टी के सूत्रों ने कहा कि इस ऑडियो के माध्यम से कांग्रेस की छवि खराब करने की कोशिश की जा रही है। प्रदेश कांग्रेस ने इसे राजनीतिक षड्यंत्र बताया है और कहा है कि तकनीकी जांच की मांग की जाएगी ताकि सच्चाई सामने आ सके।

वहीं, कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने अपील की है कि बिना सत्यापन किसी भी ऑडियो या वीडियो पर विश्वास न किया जाए।

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