
लखनऊ: इंडिया इंटरनेशनल ट्रेड फेयर (IITF) 2025 के समापन के अवसर पर उत्तर प्रदेश पवेलियन का दौरा करते हुए एमएसएमई, खादी एवं ग्रामोद्योग, रेशम, हथकरघा एवं वस्त्रोद्योग मंत्री राकेश सचान ने प्रदेश की विविध शिल्प परंपरा और उद्यम नवाचार की सराहना की। इस बार पवेलियन ने ‘एक भारत, श्रेष्ठ भारत’ थीम के तहत अपने स्टालों के माध्यम से आगंतुकों का ध्यान आकर्षित किया और लगभग 5 करोड़ रुपये की बिक्री एवं व्यापारिक पूछताछ दर्ज होने पर मंत्री ने हर्ष व्यक्त किया।
मंत्री राकेश सचान ने बताया कि इस वर्ष लगभग 150 स्टालों के माध्यम से लखनऊ की चिकनकारी, वाराणसी की रेशमी साड़ियां, फिरोजाबाद का ग्लास वर्क, सहारनपुर की लकड़ी की कारीगरी, भदोही‑मिर्जापुर की कालीनें, खुर्जा की सिरेमिक्स और अलीगढ़ के मेटल उत्पाद प्रदर्शित किए गए। इस प्रदर्शनी में ODOP गैलरी के माध्यम से उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों की विशिष्ट पहचान एक ही मंच पर सामने आई, जिससे उद्यमियों को नया बाजार और निवेशकों का विश्वास भी बढ़ा।
उन्होंने कहा कि एमएसएमई क्षेत्र को राज्य की आर्थिक रणनीति का केंद्र बनाया गया है। वर्तमान में 90 लाख से अधिक एमएसएमई इकाइयां कार्यरत हैं, जिनमें अधिकांश माइक्रो उद्यम हैं। मुख्यमंत्री युवा उद्यमी विकास अभियान (सीएम‑युवा) के तहत 5 लाख रुपये तक के ब्याज‑मुक्त ऋण की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है, जिससे अगले 10 वर्षों में 10 लाख से अधिक उद्यमियों को लाभ मिलेगा।
मंत्री ने यह भी बताया कि रेलवे फ्रेट कॉरिडोर, डिफेंस कॉरिडोर, सांस्कृतिक कॉरिडोर, एयरपोर्ट, रोड और वाटर कनेक्टिविटी जैसे आधारभूत ढांचे उत्तर प्रदेश को निवेश के लिए देश का सबसे आकर्षक गंतव्य बना रहे हैं। उन्होंने उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाली इकाइयों और भागीदारों को प्रमाण-पत्र एवं पुरस्कार वितरित किए और सभी उद्यमियों, कारीगरों, महिला समूहों और स्टार्ट‑अप्स को बधाई दी।
उत्तर प्रदेश पवेलियन को IITF 2025 के अवसर पर उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए कांस्य पदक से नवाजा गया। समापन अवसर पर अपर आयुक्त उद्योग राजकमल यादव और अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित रहे।