Monday, November 10

बुलेट और थार वालों का ‘दिमाग खराब’? हरियाणा के डीजीपी ओपी सिंह के बयान से मचा देशभर में बवाल

चंडीगढ़ (संवाददाता): हरियाणा के डीजीपी ओपी सिंह इन दिनों अपने बेबाक बयान को लेकर पूरे देश में चर्चा का विषय बने हुए हैं। सड़कों पर बढ़ते स्टंट, ड्रिंक एंड ड्राइव और लापरवाह ड्राइविंग के मामलों पर सख्त रुख अपनाते हुए उन्होंने कहा – “जिसके पास थार या बुलेट है, उसका दिमाग ज़रूर खराब है।”

डीजीपी ओपी सिंह ने स्पष्ट कहा कि अब समय आ गया है कि ऐसे लोगों पर कार्रवाई की जाए जो सड़क पर अपनी गाड़ियों के जरिए दादागीरी दिखाते हैं। उन्होंने कहा, “थार और बुलेट सिर्फ गाड़ियां नहीं रह गई हैं, ये आजकल ‘स्टेटस सिंबल’ बन चुकी हैं। इन गाड़ियों के जरिए कई युवा खुद को अलग या दबंग दिखाने की कोशिश करते हैं, जो समाज के लिए बेहद खतरनाक है।”

उन्होंने आगे कहा कि कई हादसे और अपराध ऐसी गाड़ियों के दुरुपयोग से जुड़े हैं। “हमने देखा है कि कुछ पुलिस अधिकारियों के परिवार के लोग भी थार चलाकर लापरवाही करते हैं। अब हम उन अधिकारियों की लिस्ट तैयार कर रहे हैं जिनके पास थार है, ताकि यह समझा जा सके कि कौन जिम्मेदार है और कौन नहीं,” डीजीपी ने कहा।

डीजीपी ओपी सिंह, जो कि 1992 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं और मूल रूप से बिहार के रहने वाले हैं, अपनी साफ-सुथरी छवि और सख्त कार्यशैली के लिए जाने जाते हैं। वह दिवंगत अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत के रिश्ते में जीजा भी हैं।

उनके इस बयान पर सोशल मीडिया पर जबरदस्त बहस छिड़ गई है। कुछ लोग उनके सख्त रुख की सराहना कर रहे हैं, जबकि कुछ इसे वर्गभेदी या पक्षपातपूर्ण बता रहे हैं।

डीजीपी ने हालांकि स्पष्ट किया कि उनका मकसद किसी खास वाहन या व्यक्ति को निशाना बनाना नहीं है, बल्कि लोगों में जिम्मेदार ड्राइविंग और ट्रैफिक अनुशासन के प्रति जागरूकता फैलाना है।

उन्होंने कहा, “हम किसी की आज़ादी नहीं छीनना चाहते, लेकिन सड़कों पर अराजकता और दिखावे की गुंजाइश अब नहीं बचेगी। कानून सब पर एक समान लागू होगा — अब चलेगा डंडा।”

हरियाणा पुलिस की इस सख्त नीति को लेकर पूरे देश में चर्चा जोरों पर है, और माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में राज्य की सड़कों पर ट्रैफिक अनुशासन को लेकर बड़ा अभियान शुरू किया जा सकता है।

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