
इस्लामाबाद/ढाका, 12 दिसंबर 2025: पाकिस्तान ने SAARC की प्रक्रिया को बाधित करने के लिए भारत को जिम्मेदार ठहराया है। पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय का कहना है कि भारत के रवैये की वजह से दक्षिण एशियाई क्षेत्रीय सहयोग संगठन (SAARC) लगभग निष्क्रिय हो गया है। पाकिस्तान ने भारत पर आरोप लगाया है कि यह प्लेटफॉर्म, जो क्षेत्रीय सहयोग के लिए अहम है, कमजोर किया जा रहा है।
भारत पर पाक का आरोप
पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ताहिर हुसैन अंदराबी ने कहा, “भारत ने लगातार SAARC की प्रक्रिया को बाधित किया है। यह रवैया दुखद है, लेकिन पाकिस्तान उम्मीद करता है कि SAARC प्रक्रिया जल्द ही फिर से शुरू होगी।” उन्होंने बताया कि पाकिस्तान के विदेश मंत्री इशाक डार के नेतृत्व में भारत के बिना एक नया क्षेत्रीय गुट बनाने की कोशिश की जा रही है।
इतिहास भी रहा है विवादास्पद
ताहिर हुसैन ने याद दिलाया कि भारत ने 1990 के दशक में भी इसी तरह SAARC के शिखर सम्मेलन को रोका था। उनका कहना है कि तब भी भारत ने गुट की प्रक्रिया को बाधित किया था, पाकिस्तान की वजह से नहीं। उनका आरोप है कि भारत के कारण SAARC देशों के बीच सहयोग आगे नहीं बढ़ रहा है।
नया गुट और क्षेत्रीय राजनीति
SAARC की स्थापना 1985 में हुई थी और इसमें अफगानिस्तान, बांग्लादेश, भूटान, भारत, मालदीव, नेपाल, पाकिस्तान और श्रीलंका शामिल हैं। इसे कभी दक्षिण एशिया की साझा आवाज माना जाता था, लेकिन पिछले दशक में इसकी प्रभावशीलता घट गई है। 2014 के काठमांडू समिट के बाद से निर्धारित अंतराल पर इसके शिखर सम्मेलन नहीं हो सके हैं, जिसकी वजह भारत और पाकिस्तान के बीच तनावपूर्ण रिश्ते बताये जा रहे हैं।
पाकिस्तान अब भारत के बगैर एक नया मजबूत क्षेत्रीय मोर्चा बनाने की कोशिश कर रहा है। इसमें चीन और बांग्लादेश का साथ लेने की योजना है। बांग्लादेश के फॉरेन अफेयर्स एडवाइजर मोहम्मद तौहीद हुसैन ने भी संकेत दिए कि उनका देश इस नए क्षेत्रीय गुट में शामिल होने पर विचार कर रहा है। उन्होंने कहा, “भारत को छोड़कर पाकिस्तान के साथ इस रीजनल ग्रुपिंग में शामिल होना रणनीतिक दृष्टि से संभव है।”