Wednesday, December 3

7 राज्यों, 80 से ज्यादा रेलवे स्टेशनों पर सर्च ऑपरेशन, बिजनौर की नाबालिग कनक और फिरदौस का सुराग अभी तक नहीं

बिजनौर: जिले के झालरी और जनदरपुर गांव की दो नाबालिग छात्राएं, कनक और फिरदौस, 15 नवंबर से लापता हैं। 18 दिन बीत जाने के बाद भी उनका कोई सुराग नहीं मिला है। पुलिस ने अब तक इस मामले में देशव्यापी सर्च ऑपरेशन चलाया है और उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, दिल्ली, महाराष्ट्र, गुजरात, गोवा और मध्य प्रदेश सहित कई राज्यों के 70-80 रेलवे स्टेशन और प्रमुख बस स्टैंड चेक किए हैं।

पुलिस ने 28 से 30 टीमें लगा रखी हैं, जिनमें SOG, सर्विलांस, SWAT और अन्य विशेष टीमें शामिल हैं। अब तक 400 से अधिक सीसीटीवी फुटेज खंगाले गए हैं। फुटेज में दोनों बच्चियां बिजनौर सब-स्टैंड, सहारनपुर रेलवे स्टेशन, रतलाम और सूरत स्टेशन पर दिखीं, लेकिन उनके साथ कोई संदिग्ध व्यक्ति नहीं था।

इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस न होने से हो रही मुश्किल
दोनों छात्राएं किसी मोबाइल या अन्य इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस का इस्तेमाल नहीं कर रही हैं, जिसके कारण उनकी लोकेशन ट्रेस करना बेहद मुश्किल हो रहा है। यही कारण है कि इतने बड़े ऑपरेशन के बावजूद अभी तक कोई ठोस सुराग नहीं मिल पाया।

परिवारों के बयान
कनक के माता-पिता संजीव और सोनी का आरोप है कि सहेली फिरदौस कनक पर मानसिक दबाव डालती थी और उसे किसी अन्य लड़की से बात करने नहीं देती थी। उन्होंने सोशल मीडिया पर भावुक अपील करते हुए कहा, “बेटी बस घर वापस आ जा, कोई तुझे कुछ नहीं कहेगा।”

फिरदौस के परिवार ने मीडिया से बात करने से इनकार किया है और केवल यही कहा कि दोनों बच्चियां सुरक्षित घर लौट आएं।

पुलिस की सक्रियता
एसपी सिटी कृष्ण गोपाल ने बताया कि पुलिस अब तक 7 राज्यों में 200 से अधिक लोगों से पूछताछ कर चुकी है, जिनमें स्कूली सहपाठी, रिश्तेदार, पड़ोसी, दुकानदार और रेलवे/बस स्टैंड कर्मी शामिल हैं। पुलिस का दावा है कि जल्द ही दोनों बच्चियों को सुरक्षित बरामद कर लिया जाएगा।

स्थानीय लोगों की चिंता
लगातार चल रहे सर्च ऑपरेशन, खंगाले गए सीसीटीवी फुटेज और दर्जनों टीमें जुटाए जाने के बावजूद बच्चियों का अता-पता न मिलना जिले के लोगों के बीच चिंता का विषय बना हुआ है। दोनों परिवार बुरी तरह प्रभावित हैं और पूरे जिले में उम्मीद बनी हुई है कि कनक और फिरदौस जल्द और सकुशल घर लौटेंगी।

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