Friday, December 26

सेबी की चेतावनी के बावजूद डिजिटल गोल्ड में रिकॉर्ड निवेश, खरीदारी 50% बढ़ी

 

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मार्केट रेगुलेटर सेबी की ओर से चेतावनी जारी किए जाने के बावजूद भारत में डिजिटल गोल्ड की खरीदारी लगातार बढ़ती जा रही है। इस साल जनवरी से नवंबर के बीच भारतीय निवेशकों ने करीब 12 टन डिजिटल गोल्ड खरीदा, जिसकी मौजूदा कीमत लगभग ₹16,670 करोड़ आंकी गई है। यह आंकड़ा पिछले वर्ष की तुलना में करीब 50 प्रतिशत अधिक है।

 

सेबी ने नवंबर में एक एडवाइजरी जारी कर कहा था कि डिजिटल गोल्ड या ई-गोल्ड जैसे उत्पाद उसके नियामकीय दायरे में नहीं आते और इन्हें सरकारी मंजूरी प्राप्त सिक्योरिटी नहीं माना जा सकता। इसके बावजूद खासकर युवा निवेशकों में इन उत्पादों को लेकर उत्साह कम नहीं हुआ है।

 

यूपीआई आंकड़ों से सामने आई सच्चाई

 

वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (WGC) के अनुसार, यह अनुमान नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) द्वारा जारी यूपीआई ट्रांजैक्शन डेटा पर आधारित है। एनपीसीआई ने पहली बार डिजिटल गोल्ड की खरीद से जुड़े आंकड़े सार्वजनिक किए हैं। मुंबई में सोने की मौजूदा कीमत के आधार पर 12 टन 24 कैरेट सोने का मूल्य करीब ₹16,670 करोड़ बैठता है।

उद्योग के अनुमान बताते हैं कि वर्ष 2024 में भारतीयों ने लगभग 8 टन डिजिटल गोल्ड खरीदा था।

 

₹1 से निवेश की सुविधा बनी बड़ी वजह

 

डिजिटल गोल्ड की लोकप्रियता की सबसे बड़ी वजह इसकी कम प्रवेश सीमा है। निवेशक केवल ₹1 से भी सोना खरीदना शुरू कर सकते हैं। यही कारण है कि पहली बार निवेश करने वाले और मोबाइल ऐप्स व फिनटेक प्लेटफॉर्म से जुड़े युवा खरीदारों के बीच यह विकल्प तेजी से लोकप्रिय हुआ है।

 

हालांकि सेबी की चेतावनी के बाद निवेशकों में कुछ सतर्कता जरूर आई है, लेकिन उद्योग से जुड़े विशेषज्ञ डिजिटल गोल्ड के लिए स्पष्ट नियामकीय ढांचा तैयार करने की मांग कर रहे हैं। उनका कहना है कि सही नियम-कानून बनने पर यह सोने में निवेश का सुरक्षित और पारदर्शी माध्यम बन सकता है।

 

डिजिटल गोल्ड विरासत को आगे बढ़ा रहा: WGC

 

वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल के भारत क्षेत्र के सीईओ सचिन जैन ने कहा,

“भारतीय परिवारों में सोने का विशेष महत्व है। डिजिटल गोल्ड इस परंपरा को आधुनिक तकनीक के साथ आगे बढ़ा रहा है। यह छोटे हिस्सों में सोना खरीदने, पारदर्शी कीमतों और सुरक्षित भंडारण की सुविधा देता है, जिससे शुद्धता और सुरक्षा को लेकर चिंता कम होती है।”

 

कौन-कौन सी कंपनियां हैं प्रमुख

 

भारत में डिजिटल गोल्ड क्षेत्र की प्रमुख कंपनियों में MMTC-PAMP, Augmont और SafeGold शामिल हैं। ये कंपनियां ग्राहकों की ओर से खरीदे गए सोने को सुरक्षित तिजोरियों में रखती हैं और जरूरत पड़ने पर ग्राहक अपने सोने को बेचकर तुरंत नकद राशि प्राप्त कर सकते हैं।

 

हालांकि सेबी ने स्पष्ट किया है कि डिजिटल गोल्ड न तो उसके नियमन के तहत आने वाली सिक्योरिटी है और न ही यह गोल्ड ईटीएफ या इलेक्ट्रॉनिक गोल्ड रिसीट (EGR) की तरह कमोडिटी बाजार के मौजूदा नियमों में शामिल है।

 

 

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