
जहां एक ओर शेयर बाजार में उतार-चढ़ाव का दौर जारी है, वहीं दिग्गज उद्योगपति अनिल अग्रवाल की वेदांता समूह की सहायक कंपनी हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड ने नया इतिहास रच दिया है। कंपनी का शेयर शुक्रवार को बीएसई पर 3.4 प्रतिशत की तेजी के साथ ₹646 के सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच गया। पिछले 10 ट्रेडिंग सत्रों में शेयर में 14 प्रतिशत की जबरदस्त बढ़त दर्ज की गई है।
चांदी की रिकॉर्ड तेजी का सीधा असर
हिंदुस्तान जिंक के शेयरों में आई इस तेजी की मुख्य वजह चांदी की कीमतों में ऐतिहासिक उछाल है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में चांदी पहली बार 75 डॉलर प्रति औंस के पार पहुंच गई है। वहीं, घरेलू वायदा बाजार (MCX) पर चांदी की कीमत ₹2,33,183 प्रति किलोग्राम के नए रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गई।
साल 2025 में अब तक चांदी की कीमतों में 158 प्रतिशत की बढ़ोतरी हो चुकी है, जिससे यह अन्य निवेश विकल्पों की तुलना में बेहतर प्रदर्शन कर रही है।
दुनिया की टॉप-5 चांदी उत्पादक कंपनियों में शामिल
हिंदुस्तान जिंक दुनिया की शीर्ष पांच चांदी उत्पादक कंपनियों में शामिल है। कंपनी की वार्षिक चांदी उत्पादन क्षमता करीब 800 टन है और इसके कुल मुनाफे का लगभग 38 प्रतिशत हिस्सा चांदी से आता है। ऐसे में चांदी की कीमतों में आई तेजी का कंपनी के वित्तीय प्रदर्शन पर सीधा सकारात्मक असर पड़ रहा है।
विशेषज्ञों का मानना है कि कम खनन लागत, मजबूत बिक्री मूल्य और वैश्विक मांग में बढ़ोतरी के चलते कंपनी की लाभप्रदता आने वाले समय में और मजबूत हो सकती है।
अनिल अग्रवाल का भरोसा
वेदांता ग्रुप के चेयरमैन अनिल अग्रवाल ने भी चांदी की तेजी को लेकर सकारात्मक संकेत दिए हैं। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर कहा कि चांदी अब सोने की छाया से बाहर निकलकर एक लंबी अवधि की मजबूत धातु के रूप में उभर रही है। उन्होंने बताया कि डॉलर के मुकाबले चांदी की कीमत में इस साल अब तक 125 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई है, जिसकी बड़ी वजह टेक्नोलॉजी और ग्रीन एनर्जी सेक्टर से बढ़ती मांग है।
मजबूत नतीजों से निवेशकों को भरोसा
सितंबर 2025 तिमाही में हिंदुस्तान जिंक ने ₹2,649 करोड़ का शुद्ध मुनाफा दर्ज किया। इसमें से करीब ₹1,060 करोड़, यानी लगभग 40 प्रतिशत, चांदी से आया, जो पिछली तिमाही की तुलना में 19 प्रतिशत अधिक है।
ब्रोकरेज फर्म जेफरीज के अनुसार, कंपनी का मुनाफा आगे भी मजबूत रहने की उम्मीद है। रिपोर्ट में वित्त वर्ष 2026 में प्रति शेयर आय (EPS) में 22 प्रतिशत, वित्त वर्ष 2027 में 29 प्रतिशत और वित्त वर्ष 2028 में 7 प्रतिशत की वृद्धि का अनुमान जताया गया है।
आगे भी बनी रह सकती है तेजी
विश्लेषकों का मानना है कि चांदी की मौजूदा मजबूती और हिंदुस्तान जिंक की कम लागत वाली उत्पादन संरचना को देखते हुए, आने वाले समय में शेयर में और तेजी की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता।