Tuesday, December 2

भारत की क्लीन सिटी: इंदौर, 8वीं बार टूटा सफाई का रिकॉर्ड

नई दिल्ली: स्वच्छ भारत मिशन के तहत देश के शहरों की सफाई और स्वच्छता पर लगातार नजर रखी जाती है। इस सूची में इंदौर ने लगातार अपनी चमक बनाए रखी है और 8वीं बार देश का सबसे स्वच्छ शहर बनने का गौरव हासिल किया है। इस उपलब्धि के साथ इंदौर ने वह रिकॉर्ड भी बनाया है जिसे अब तक कोई दूसरा शहर नहीं तोड़ पाया।

इंदौर क्यों है क्लीन सिटी?

आवास और शहरी कार्य मंत्रालय के अनुसार, इंदौर की सफाई में स्थानीय प्रशासन, नागरिक और बच्चों की भागीदारी अहम रही है। शहर ने कचरा कम करने की नीति, अनिवार्य कचरा पृथक्करण और जनता में जागरूकता लाकर यह मुकाम हासिल किया है।

  • बड़ी उत्सवों में जीरो-वेस्ट कार्यक्रम: शहर में आयोजित अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैचों और बड़े समारोहों में स्वच्छता को प्राथमिकता दी जाती है।
  • स्वच्छता में बच्चों की भागीदारी: स्कूलों और कॉलेजों में छोटे समूह बनाए गए हैं जो अपने आस-पास सफाई सुनिश्चित करते हैं।
  • वायु गुणवत्ता निगरानी: इंदौर ने अमेरिकी सहयोग से तीन आधुनिक वायु गुणवत्ता निगरानी स्टेशन स्थापित किए हैं, जिससे हवा की स्थिति पर नजर रखी जा सके।

रिकॉर्ड बनाए रखने की रणनीति

इंदौर के लोग सामुदायिक कार्यक्रमों के बाद खुद सफाई सुनिश्चित करते हैं। नए विवाहों में भी नवविवाहियों को स्वच्छता की शपथ दिलाई जाती है। इसके अलावा, रात में चलाए जाने वाले स्वच्छता अभियान और स्थानीय प्रशासन की सतत निगरानी ने इंदौर को देश की सबसे साफ-सुथरी सिटी बना दिया है।

निष्कर्ष: इंदौर ने केवल भारत में ही नहीं, बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी स्वच्छता और साफ-सफाई में अपनी अलग पहचान बनाई है। यह शहर स्वच्छता के मामले में अन्य शहरों के लिए प्रेरणा बन चुका है।

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