
महाराष्ट्र की राजनीति में एक बार फिर बड़ा सियासी भूचाल आने के संकेत मिल रहे हैं। शिवसेना (एकनाथ शिंदे गुट) के मंत्री संजय शिरसाट के एक बयान ने राजनीतिक गलियारों में चर्चाओं का दौर तेज कर दिया है। शिरसाट ने दावा किया है कि राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरद पवार गुट) के प्रमुख शरद पवार भविष्य में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) का हिस्सा बन सकते हैं।
उनके इस बयान के बाद विपक्षी खेमे में बेचैनी साफ देखी जा रही है, खासकर तब जब शरद पवार की एनसीपी (एसपी) स्थानीय निकाय चुनावों के लिए अलग-अलग राजनीतिक दलों से समानांतर बातचीत कर रही है।
‘शरद पवार के लिए यह असंभव नहीं’
मंत्री संजय शिरसाट ने कहा, “क्या किसी ने सोचा था कि शरद पवार उद्धव ठाकरे के साथ जाएंगे? लेकिन उन्होंने ऐसा किया और ढाई साल सत्ता में भी रहे। उन्होंने सोनिया गांधी का विरोध किया, कांग्रेस छोड़ी और फिर उसी कांग्रेस के साथ गठबंधन कर लिया। अगर वे एनडीए में शामिल होते हैं तो इसमें कोई हैरानी नहीं होनी चाहिए। यही उनका राजनीतिक सफर रहा है।”
शिरसाट का यह बयान ऐसे समय आया है, जब शरद पवार की पार्टी पुणे और पिंपरी-चिंचवाड़ नगर निगम चुनावों के लिए अजीत पवार गुट से बातचीत कर रही है।
एनसीपी (एसपी) ने दावे को किया खारिज
संजय शिरसाट के बयान पर एनसीपी (शरद पवार गुट) ने कड़ा ऐतराज जताया है। पार्टी के वरिष्ठ नेता जयंत पाटिल ने इन दावों को सिरे से खारिज करते हुए कहा कि यह पार्टी की ईमानदारी और राजनीतिक नीयत पर संदेह पैदा करने की कोशिश है।
जयंत पाटिल ने कहा, “इस तरह की टिप्पणियों को गंभीरता से लेने की जरूरत नहीं है।”
नगर निगम चुनावों को लेकर समानांतर बातचीत
हालांकि, जयंत पाटिल ने यह भी स्वीकार किया कि एनसीपी (एसपी) मुंबई नगर निगम चुनावों को लेकर अलग-अलग राजनीतिक विकल्पों पर विचार कर रही है। उन्होंने बताया कि पार्टी के दो प्रतिनिधिमंडल सक्रिय हैं—एक कांग्रेस से सीट बंटवारे पर बातचीत कर रहा है, जबकि दूसरा शिवसेना (यूबीटी) और महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के साथ संभावित गठबंधन पर चर्चा कर रहा है।
स्थानीय परिस्थितियों के अनुसार गठबंधन
पुणे और पिंपरी-चिंचवाड़ नगर निगमों में अजीत पवार गुट से बातचीत का बचाव करते हुए जयंत पाटिल ने कहा कि स्थानीय परिस्थितियों को देखते हुए गठबंधन पर विचार किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जब कांग्रेस और शिवसेना के साथ मिलकर चुनाव लड़ा गया था, तब पार्टी की स्थिति मजबूत थी, लेकिन मौजूदा हालात में हर विकल्प का आकलन जरूरी है।
बिखरती महा विकास अघाड़ी
स्थानीय निकाय चुनावों को लेकर महा विकास अघाड़ी लगभग बिखर चुकी है। शिवसेना (यूबीटी) ने मुंबई में मनसे के साथ गठबंधन कर लिया है, जबकि कांग्रेस ने अकेले चुनाव लड़ने का फैसला किया है। ऐसे में शरद पवार की एनसीपी (एसपी) ठाणे, कोल्हापुर, पुणे और पिंपरी-चिंचवाड़ जैसे प्रमुख नगर निगमों में नए सियासी समीकरण तलाशती नजर आ रही है।
फिलहाल संजय शिरसाट के बयान ने महाराष्ट्र की राजनीति में अटकलों को और हवा दे दी है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि आने वाले दिनों में शरद पवार का अगला कदम किस दिशा में जाता है।